बिलासपुर में ‘समर्थ-2025 कार्यक्रम’ के तहत डिस्ट्रिक्ट इंटर एजेंसी ग्रुप (डीआईएजी) की बैठक आयोजित

जिला मुख्यालय बिलासपुर में आज आपदा प्रबंधन ‘समर्थ-2025 कार्यक्रम’ के अंतर्गत डिस्ट्रिक्ट इंटर एजेंसी ग्रुप (डीआईएजी) की एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता अतिरिक्त उपायुक्त ओम कांत ठाकुर ने की। बैठक में आपदा की स्थिति में सामाजिक एवं स्वैच्छिक संस्थाओं की भूमिका पर विस्तारपूर्वक चर्चा की गई।

इस अवसर पर जिला की विभिन्न सामाजिक संस्थाओं के प्रधान और प्रतिनिधि सदस्य उपस्थित रहे।


बैठक में मुख्य बिंदु और निर्देश

अतिरिक्त उपायुक्त ने कहा कि ‘समर्थ कार्यक्रम’ का मुख्य उद्देश्य आपदा के समय प्रशासन, स्वयंसेवी संस्थाओं और आम जनता के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करना है। इससे राहत एवं बचाव कार्य अधिक प्रभावी और समयबद्ध ढंग से संचालित किए जा सकेंगे।

उन्होंने बताया कि –

  • सभी उपमंडलों में इंटर एजेंसी ग्रुप गठित किए जाएंगे।

  • प्रशिक्षित स्वयंसेवक (वालंटियर्स) तैयार किए जाएंगे, जिन्हें आपदा की स्थिति में राहत और बचाव कार्यों में सक्रिय भूमिका निभाने का प्रशिक्षण दिया जाएगा।

  • 14 अक्तूबर को सभी पंचायतों को क्विक रिस्पॉन्स किट वितरित की जाएंगी, जिनकी अनुमानित लागत लगभग 50 हजार रुपये प्रति किट है।

अतिरिक्त उपायुक्त ने सामाजिक संस्थाओं से अनुरोध किया कि वे स्वयंसेवकों की सूची जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण को उपलब्ध कराएँ, ताकि योग्यता और रुचि के अनुसार प्रशिक्षण दिया जा सके। इस कदम से पंचायत स्तर पर त्वरित कार्य बल (क्यूआरटी) का गठन होगा और आपदा के दौरान जन एवं धन की हानि न्यूनतम की जा सकेगी।


सामाजिक संस्थाओं की भागीदारी

बैठक में विभिन्न सामाजिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों ने सुझाव प्रस्तुत किए। प्रमुख उपस्थित लोग:

  • अखण्ड गायत्री परिवार: आर.के. टंडन (मुख्यमंत्री राहत कोष में 21 सौ रुपये का अनुदान)

  • डिस्ट्रिक्ट इंटर एजेंसी ग्रुप कन्वीनर: प्रो. प्यारे लाल जनेऊ

  • रेडक्रॉस सचिव: अमित कुमार

  • डी.डी.एम.ए. ट्रेनिंग एंड कैपेसिटी कोऑर्डिनेटर: उदय शर्मा

  • एकल नारी शक्ति संगठन: रुचिका और नीलम

  • पेंशनर्स एसोसिएशन, बिलासपुर: सुमन कुमार, राधे श्याम

  • वरिष्ठ नागरिक सभा, बिलासपुर: सुरेश नड्डा

  • मानव सेवा ट्रस्ट: प्रकाश बंसल

  • ज्ञान-विज्ञान समिति: मनसा राम

  • अपराजिता संगठन: राजेंद्र

सभी सामाजिक कार्यकर्ताओं ने समर्थ कार्यक्रम के तहत समुदाय को आपदा के प्रति जागरूक बनाने और सुरक्षित समाज निर्माण में योगदान देने का संकल्प लिया।