एचपीयू में बीते वर्ष हुई शिक्षक भर्ती घोटालों की न्यायिक जांच की मांग ने दोबारा से तूल पकड़ लिया है। इसी संदर्भ में भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन की एचपीयू कैंपस इकाई के द्वारा विश्वविद्यालय के कुलपति और प्रतिकुलपति को घोटालों की न्यायिक जाँच की मांग को लेकर ज्ञापन सौंपा गया।
एनएसयूआई विश्वविद्यालय इकाई के अध्यक्ष योगेश यादव में कहा कि विवि में लंबे समय से शिक्षक, गैर शिक्षक व विभिन्न छात्र संगठनों द्वारा भर्ती घोटालों के खिलाफ न्यायिक जांच की मांग की जा रही है। उन्होंने कहा कि पूर्व कुलपति के कार्यकाल में जो शिक्षक और ग़ैर शिक्षक कर्मचारियों की विश्वविद्यालय के नियमों को ताक पर रख कर जो भर्ती की गई है उसकी न्यायिक जाँच जल्द से जल्द हाई कोर्ट के सीटिंग जज से करवायी जाये। साथ ही पूर्व कुलपति सिकंदर कुमार ने यूजीसी के नियमों को दरकिनार कर के पीएचडी में अपने बेटे और पी एल शर्मा और अरविंद भट्ट के बच्चो की को एडमिशन की गई है उन्हें तुरंत प्रभाव से निरस्त किया जाये।
कुलपति कार्यालय में कुलपति को ज्ञापन पत्र सौंपते हुए एनएसयूआई छात्रों ने वहां मौजूद प्रति कुलपति व डीएस को भी मांग पत्र सौंपे। एनएसयूआई के छात्र नेताओं ने चेताया कि विश्वविद्यालय प्रशासन अगर जल्द से जल्द शिक्षक और ग़ैर शिक्षक भर्ती की न्यायिक जाँच नहीं करवाती है और पीएचडी में फ़र्जी एडमिशनों को जल्द से जल्द निरस्त नहीं किया गया तो एनएसयूआई उग्र आंदोलन और सड़कों पर उतरने से पीछे नहीं हटेगी । इस अवसर पर प्रदेश उपाध्यक्ष वीनू मेहता , राज्य महासचिव परवीन मिन्हास, यासिन भट, अरविंद, पवन नेगी , सुमनदीप, बुनीत कश्यप , रमेश कुमार , यशवंत सिंह ,विक्रांत शर्मा अक्षिता भरोटा, रणदीप ठाकुर , सचिन ठाकुर , गिरीश, गौरव नेगी सहित अन्य कई छात्र मौजूद रहे।